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सरदार पटेल गुड गवर्नन्स सीएम फेलोशिप की घोषणा: सरकार ट्रेनिंग के साथ 1 लाख रूपए पारिश्रमिक भी देगी

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सरदार पटेल गुड गवर्नन्स सीएम फेलोशिप की घोषणा: सरकार ट्रेनिंग के साथ 1 लाख रूपए पारिश्रमिक भी देगी
सूरत 31 अक्टुबर
कांतिलाल मांडोत
नंदूरबार के एक प्राइवेट अस्पताल में इलाज कराने के बाद माता-पिता बच्चे को लेकर सूरत आए

प्राइवेट अस्पताल में ऐसे ऑपरेशन का खर्च 50 हजार से 3 लाख रूपए है, सिविल में मुफ्त इलाज हुआ

सिविल अस्पताल के डॉक्टरों ने डेढ़ महीने के बच्चे की अन्ननली का सफल ऑपरेशन करके उसे नया जीवन दिया है। बच्चे के शरीर में जठर और आंत के बीच अन्ननली में सूजन आ गई थी। इससे बच्चा मां का दूध नहीं पी पाता था। दूध न पीने के कारण बच्चे की हालत गंभीर हो गई थी। नंदूरबार के रहने वाले गरीब माता-पिता बच्चे को लेकर एक प्राइवेट अस्पताल में गए। दो दिन इलाज कराने के बाद अपने एक रिश्तेदार की मदद से बच्चे को लेकर सूरत आए। बच्चे को सिविल अस्पताल में भर्ती कराया गया।
सिविल अस्पताल के पीडियाट्रिक सर्जरी विभाग के एसोसिएट प्रोफेसर महेश वाघेला और पीडियाट्रिक विभाग की महिला डॉक्टर प्रीति पटेल ने बताया कि डेढ़ माह का मासूम बालक अंश मां का दूध पीने के बाद उल्टी कर देता था। परिवार महाराष्ट्र के नंदूरबार का मूल निवासी है। बच्चे की हालत ज्यादा गंभीर होने पर पिता विकास नायक एक प्राइवेट अस्पताल में ले गए। वहां एक्स-रे समेत रिपोर्ट निकाली गई। जन्म से ही बच्चे के शरीर में जठर और आंत के बीच अन्ननली में सूजन थी, इससे वह मोटी हो गई थी।
बच्चे को सिविल अस्पताल के पीआईसीयू वार्ड में रेफर करके इलाज शुरू किया गया। पीडियाट्रिक विभाग के डॉक्टरों की जांच में बच्चे को कोनजीनिटल हाइपरट्रॉफिक पायलोरिक स्टेनोसिस नामक बीमारी सामने आई। सिविल अस्पताल के पीडियाट्रिक विभाग के डॉक्टरों ने बच्चे का सफल ऑपरेशन किया। ऑपरेशन करने में डेढ़ घंटे का समय लगा। जटिल ऑपरेशन के बाद डेढ़ साल का बच्चा पूरी तरह से स्वस्थ है। सामान्यतया प्राइवेट अस्पताल में इस प्रकार के ऑपरेशन का खर्च 50 हजार से तीन लाख रूपए होता है, पर सिविल अस्पताल में मुफ्त में किया गया। बच्चे के माता-पिता सिविल अस्पताल के डॉक्टरों का आभार मान रहे हैं। डेढ़ माह का अंश अब धीरे-धीरे मां का दूध भी पीने लगा है।

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